ऐ मेरे वतन के लोगों भाग 2
ऐ मेरे वतन के लोगों, तुम काम करो इक प्यारा |
आज़ादी के दिन को ऐसे मनाओ देखे ज़माना सारा |
लेकिन उन्हें न भुलाना, जो शहीद हुए सीमा पर |
ज़रा याद उन्हें भी करना, जो मिट गए धरती माँ पर |
ऐ मेरे वतन के लोगों, ज़रा याद करो वो कहानी |
जो शहीद हुए सीमा पर, ज़रा याद करो क़ुरबानी |
जब घायल हुए थे सिपाही, जख्मी हाथों से लड़ी लड़ाई |
बलिदान की अमर ये गाथा, हो गए अमर बलिदानी |
जो शहीद हुए सीमा पर जरा याद करो क़ुरबानी |
किसी औरत की माथे की लाली |
किसी बहन की राखी की थाली |
जब गोली लगी सीने में,
खो गयी सब ये निशानी |
जो शहीद हुए सीमा पर जरा याद करो क़ुरबानी |
किसी माँ की आँख का तारा |
किसी बाप का राज-दुलारा |
सरहद पर लड़ते-लड़ते,
जिसने अपनी जान गँवा दी |
जो शहीद हुए सीमा पर जरा याद करो क़ुरबानी
वो कहते मरते-मरते, तुम भूल न जाना ये कहानी |
आज़ाद भारत के लिए लाखों ने लाश बिछा दी |
जो शहीद हुए सीमा पर जरा याद करो क़ुरबानी |
जब आये लब पे तो दुआ कीजिए ।
हमारे लिए भी चंद अल्फाज अपनी जुबां कीजिए ।
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शुक्रिया,,,,,
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